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अस्पताल विवाद: डॉक्टर vs पार्षद पति, कलेक्टर तक पहुंचा मामला!

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Burhanpur District Hospital witnessed a dispute between a doctor and a councilor’s husband, leading to an official inquiry by the authorities.

Doctor and councilor’s husband arguing inside Burhanpur District Hospital, with onlookers including patients and staff watching the dispute

A heated argument between a doctor and a BJP councilor’s husband inside Burhanpur District Hospital, leading to an official complaint.

Hospital Dispute: Doctor vs Councilor’s Husband, Case Reaches Collector!

Special Correspondent, Burhanpur, MP Samwad.

A dispute erupted at Burhanpur District Hospital between a doctor and a BJP councilor’s husband. The argument began when the husband mistakenly sat on the doctor’s chair. The matter escalated, leading to a formal complaint at the Collector’s office. Authorities have launched an investigation, and the doctor received a notice.

MP बुरहानपुर जिले के सरकारी अस्पताल में डॉक्टर और बीजेपी पार्षद के पति के बीच विवाद का मामला सामने आया है। पार्षद ने डॉक्टर पर उनके पति से बदतमीजी करने और डराने-धमकाने का आरोप लगाया है।

क्या है पूरा मामला?

बीजेपी की महिला पार्षद, जो वार्ड नंबर 12 गांधी चौक से हैं, को उनकी पालतू बिल्ली ने काट लिया था। इसके बाद वे अपने पति के साथ एंटी-रेबीज इंजेक्शन लगवाने जिला अस्पताल पहुंचीं। वहां इमरजेंसी ड्यूटी पर डॉक्टर अलतमश तैनात थे। इसी दौरान पार्षद के पति गलती से डॉक्टर की कुर्सी पर बैठ गए, जिस पर डॉक्टर ने उन्हें टोका और विरोध जताया।

कलेक्टर ऑफिस तक पहुंची शिकायत

डॉक्टर का यह व्यवहार पार्षद और उनके पति को अनुचित लगा। उन्होंने इस पूरे घटनाक्रम का वीडियो बनाया और शिकायत लेकर कलेक्टर कार्यालय पहुंच गए। वहां उन्होंने ADM वीर सिंह चौहान से मुलाकात कर पूरे मामले की जानकारी दी। ADM ने इस विवाद की जांच के आदेश दिए हैं और जिला अस्पताल के सिविल सर्जन को इस मामले की समीक्षा करने को कहा है।

डॉक्टर पर क्या आरोप लगे हैं?

पार्षद के पति का आरोप है कि डॉक्टर ने उन्हें धमकाया और सरकारी काम में बाधा डालने का झूठा आरोप लगाने की बात कही। उन्होंने यह भी दावा किया कि डॉक्टर ने उन्हें “अराजक तत्व” कहकर अपमानित किया। जब मीडिया ने यह मामला सिविल सर्जन के सामने रखा, तो उन्होंने वीडियो देखने के बाद डॉक्टर को नोटिस जारी कर जवाब तलब किया।

अस्पताल प्रशासन का क्या कहना है?

अस्पताल प्रशासन ने आश्वासन दिया है कि किसी भी मरीज या उनके परिजन के साथ गलत व्यवहार नहीं किया जाएगा। साथ ही, डॉक्टरों को भी व्यवहार संबंधी जरूरी प्रशिक्षण दिया जाएगा, ताकि भविष्य में इस तरह की घटनाएं न दोहराई जाएं।

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